24 घंटे भी नहीं बीते और बीजेपी को एक और बड़ा झटका मिला।वन , पर्यावरण एवं जंतु उद्यान मंत्री दारा सिंह चौहान ने भी अपने पद को त्याग दिया । इसके बाद बीजेपी ने डैमेज कंट्रोल करने की भी कोशिश की। सबसे पहले
मंत्री दारा सिंह चौहान को मनाने के लिए उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य सामने आए।
उन्होंने ट्वीट कर लिखा- “परिवार का कोई सदस्य भटक जाए,तो दुख होता है. जाने वाले आदरणीय महानुभावों को मैं बस यही आग्रह करूँगा कि डूबती हुई नाव पर सवार होने से नुक़सान उनका ही होगा. बड़े भाई श्री दारा सिंह जी आप अपने फैसले पर पुनर्विचार करिए।” लेकिन जब मान- मनव्वल से काम नहीं बना तो फिर योग या संयोग से एक सरकारी फरमान के जरिए संदेश आया है कि उत्तर प्रदेश के पूर्व कैबिनेट मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के ख़िलाफ़ एमपी-एमएलए कोर्ट ने गिरफ़्तारी वारंट जारी किया है. सुल्तानपुर के कोर्ट ने उनको आगामी 24 जनवरी तक पेश होने का आदेश दिया है. अब देखने वाली बात है कि स्वामी प्रसाद मौर्य कोई दबाव में आते है या नहीं लेकिन सवाल उठता है वॉरंट के टाइमिंग पर । क्या वारंट कोई मानसिक दबाव बना पाता है या नहीं , देखने वाली बात होगी।
पिछले 24 घंटों में BJP के 6 विकेट गिर चुके हैं । इससे पहले योगी आदित्यनाथ सरकार में श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य ने बीजेपी का दामन छोड़ दिया है। उनके साथ ही बीजेपी के चार और विधायकों ने पार्टी छोड़ने का फ़ैसला किया है और 24 घंटे भी नहीं बीते और बीजेपी को एक और बड़ा झटका मिला वन , पर्यावरण एवं जंतु उद्यान मंत्री दारा सिंह चौहान ने पार्टी छोड़ दी । राजनीतिक पंडितों का कहना है कि दारा सिंह चौहान की OBC वोट बैंक पर अच्छी पकड़ है ।
सबसे पहला और बड़ा झटका BJP को श्रम मंत्री स्वामी प्रसाद मौर्य के रूप में लगा जिन्हें राजनीति का मौसम वैज्ञानिक कहा जाता है . मौर्य, उत्तर प्रदेश में ओबीसी का बड़ा चेहरा माने जाते हैं. उनके साथ ही बीजेपी के चार और विधायकों ने पार्टी छोड़ने का फ़ैसला किया है, जिनमें बृजेश प्रजापति, रोशन लाल, भगवती सागर, और विनय शाक्य शामिल हैं.अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC)के प्रभावी नेता और पांच बार के विधायक स्वामी प्रसाद मौर्य ने मायावती की बहुजन समाज पार्टी छोड़ने के बाद वर्ष 2017 में बीजेपी ज्वॉइन की थी. वह अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी का मुक़ाबला करने के लिए ओबीसी वोटर्स को आकर्षित करने की बीजेपी की योजना के केंद्र बिंदु थे.
दरसअल स्वामी प्रसाद मौर्य ने बीजेपी से इस्तीफा दे दिया है लेकिन सपा में जाने पर सस्पेंस बरकरार रखा है । मौर्य की बेटी ने इससे इनकार किया है। वहीं मौर्य ने खुद सपा में जाने की बात पर आधिकारिक मुहर नहीं लगाई है। दूसरी तरफ बीजेपी की तरफ से मौर्य को मनाने की कोशिशें जारी हैं…..
उधर BJP लगातार दो दिन से टिकट बंटवारे पर मंथन कर रही है किसे इन करे किसे आउट लेकिन जैसे राजनेता BJP से आउट और सपा में इन हो रहे हैं तो इतना तो साफ़ है कि अभी सपा BJP को और झटके देने वाली है क्योंकि समाजवादी के साथी दल सुभासपा के अध्यक्ष ओपी राजभर ने भी बीजेपी खेमे में मची भगदड़ पर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने ट्वीट कर लिखा,” सामाजिक न्याय का इंक़लाब होगा-पिछड़ों, दलितों, अल्पसंख्यकों, वंचितों का हक़ लूटने वालों का खदेड़ा होगा. भाजपा का विकेट गिरना शुरू हो गया है..आगे देखते जाइये कतार लगने वाला है। 10 मार्च को सुभासपा व सपा गठबंधन की पूर्ण बहुमत सरकार बनेगी मा.अखिलेश यादव जी उप्र.के सीएम बनेंगे ।
BJP में मची भगदड़ कब तक जारी रहती है देखने वाली बात होगी ।पर इतना तो साफ़ है बीजेपी का ख़ास ग़ैर यादव OBC वोट प्रदेश में 35% है जो बीजेपी की लुटिया डुबो भी सकता है।